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Monday, January 28, 2019

साबुन से मानव जीवन को ख़तरा

साबुन से मानव जीवन को ख़तरा

हम साबुन से नहाकर सोचते है की हमारे शरीर की सफ़ाई हो गयी , परंतु सफ़ाई ऐसे होती है जैसे जब चोर घर का पुरा माल ले जाता है फिर हम बोलते है की चोर घर का पुरा माल साफ़ कर गया । भाइयों वेद के अनुसार अपनी स्किन ख़ुद सफ़ाई करती है ,वेद में नहाने का ज़रूर लिखा है परंतु उसका उद्देश अपनी शरीर की माँसपेशियों को एक्टिव करने का है , अपने शरीर का तापमान ३७ डिग्री रहता है और सामान्य मौसम में पानी का तापमान २५ डिग्री रहता है , जब शरीर से कम तापमान शरीर पर डालते है तो उसको ३७ डिग्री तक लाने के लिए सारी मांसपेशिया एक्टिव हो जाती है , बस इतना ही काम बताया है नहाने से वेद में । अब इन भांड लोगों ( फ़िल्मी दुनिया ) ने TV पर इतना प्रचार कर दिया कि बिना साबुन के नहाना मतलब ग़रीब , महागरीब । मै पिछले एक साल से केवल सादे पानी से नहा रहा हु , और शरीर एकदम स्वस्थ है । अब इस साबुन के दुस्परिणाम बता रहा हूँ । पहला स्किन पर कुछ चिकनाई रहती है जिससे स्किन फटे नहीं और मुलायम रहे और स्किन स्वस्थ रहे । साबुन ने चिकनाई ख़त्म कर दी , नहाने के बाद शरीर पर तेल लगाओ या न लगाओ स्किन रोग होना निश्चित है । अब आगे सुनो जब साबुन के उपगोग के बाद पानी नाली में बहाया जाता है । फिर ये गंदा पानी ज़मीन में जाएगा या किसी नदी नाले में । इस तरह ये पानी दोनो जगह से लोटकर प्रदूषित होकर , कैन्सर युक्त होकर हमारे पास वापिस आता है ,या तो ट्यूबवेल , हेंडपम्प , या नगर पालिका से सुबह सप्लाई होकर । नगर पालिका से जो पानी घरों में आता है वह किसी नदी पर डैम बनाकर या बहती नदी के पानी को फ़िल्टर प्लांट पर साफ़ करके सप्लाई की जाती है , जब फ़िल्टर प्लांट पर पानी साफ़ होता है तो , उसको दो तरह से साफ़ किया जाता है की वो दिखने में साफ़ हो दूसरा ज़हरीला ना हो । रेत में छानकर साफ़ कर दिया और क्लोरीन डालकर किटाणुरहित कर दिया , क्लोरीन अपने आप में ही ज़हर है , मतलब ज़हर को बड़े ज़हर से मारा गया । फिर वो पानी आपके पास ही आएगा , जब इस तरह का पानी लम्बे समय तक पियोगे तो कैन्सर होना निस्चित है। अब इस साबुन का पानी नदी नाले से किसान भी अपनी फ़सलो को देते है , वो फ़सल भी ज़हरीली होती है और मिट्टी भी कठोर हो जाती है , मिट्टी इतनी कठोर हो जाती है की इसकी जुताई केवल ट्रैक्टर से हो सकती है बैल से नहीं, और जब मिट्टी कठोर हो गयी तो बारिश का पानी नीचे ज़मीन में नहीं जाएगा , केवल बाढ़ लाएगा । मतलब प्रलय ही प्रलय । इसी तरह कपड़े धोने का साबुन , बर्तन साफ़ करने वाला साबुन , toilet साफ़ करने वाला harpic का उपयोग करना कैन्सर को न्योता देना है , इन सभी का विकल्प मुल्तानी  मिट्टी है या काली मिट्टी , मुल्तानी  मिट्टी को साबुन की जगह उपयोग कीजिए मानव जीवन को बचाइए ।

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Sunday, January 20, 2019



21 जनवरी को होगा साल का पहला पूर्ण चंद्र ग्रहण
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नए साल 2019 के पहले हफ्ते में ही इस बार सूर्य ग्रहण (Solar Eclipse) हुआ और अभी महीना खत्म भी नहीं हुआ है कि पूर्ण चंद्रग्रहण (Lunar Ecipse) पड़ने जा रहा है। जी हां...21 जनवरी को पूर्णिमा (Full Moon) है और इसी दिन पड़ने जा रहा है साल का पहला चंद्रग्रहण। वही इस चंद्रग्रहण को काफी खास भी माना जा रहा है क्योंकि वैज्ञानिक नज़रिए से इसे सुपर ब्लड मून (Super Blood Moon) का नाम दिया गया है। कहा जा रहा है कि इस चंद्र ग्रहण में चांद बाकी दिनों के मुकाबले 14 फीसदी बड़ा और 30 फीसदी ज्यादा चमकीला नजर आता है। यही कारण है कि चांद सुर्ख लाल रंग का नज़र आता है। वही रात को अंधेरे में ये नजारा बेहद ही अद्भुत नज़र आता है। यही कारण है कि इसे ब्लड मून कहा जाता है।
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कब से कब तक होगा चंद्रग्रहण ?
भारतीय समयनुसार यह ग्रहण 20 जनवरी सुबह 10 बजे से लेकर 21 जनवरी की शाम 3 बजकर 33 मिनट तक रहेगा। 20 जनवरी रात्रि 11 बजकर 40 मिनट से पूर्ण चंद्रग्रहण शुरू होगा। भारतीय समयानुसार ये चंद्रग्रहण 21 जनवरी सुबह 11.12 बजे तक रहेगा। कहा जाता है कि जब चंद्रमा, पृथ्वी और सूर्य जब एक ही लाइन में आ जाते हैं और जब चांद पर पृथ्वी की प्रच्छाया पड़ती है तब चंद्रग्रहण होता है। वही ग्रहण से पहले सूतक काल 12 घंटे पहले ही शुरू हो जाता है। इस लिहाज़ से सूतक 20 जनवरी की रात 9 बजे से ही शुरु हो जाएगा।
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कहां-कहां दिखेगा चंद्रग्रहण?
खास बात ये है कि चंद्रग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा। ये केवल अफ्रीका, यूरोप, उत्तरी-दक्षिणी अमेरिका और मध्य प्रशांत में ही नज़र आएगा। इससे पहले सूर्य ग्रहण भी भारत में नज़र नहीं आया था। 21 जनवरी को पड़ने वाला चंद्रग्रहण न्यूयार्क, लॉस एंजिलेस, लंदन, शिकागो, एथेंस, पेरिस, मास्को, ब्रेसेल्स और वाशिंगटन डीसी में नज़र आएगा।बता दें कि यह ग्रहण साल का पहला पूर्ण चंद्रगहण होगा। हालांकि यह ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा। 20-21 जनवरी को लगने वाला चंद्र ग्रहण मध्य प्रशांत महासागर, उत्तरी और दक्षिणी अमेरिका, यूरोप और अफ्रीका में दिखाई देगा। ज्योतिष की माने तो भले ही ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा लेकिन ग्रहण के दौरान आपको कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना होगा वरना इसका बुरा असर पड़ता है:
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1. ग्रहण के समय भोजन नहीं करना चाहिए। उस समय घर में रखा हुआ खाना या पेय पदार्थ उपयोग करने लायक नहीं होता है।
2. सूतक एवं ग्रहण काल में झूठ, कपट आदि बुरे विचारों से परहेज करना चाहिए।
3. ग्रहण काल में मन तथा बुद्धि पर पड़ने वाले कुप्रभाव से बचने के लिए जप, ध्यानादि करना चाहिए।
4. ग्रहण काल में व्यक्ति को मूर्ति स्पर्श, नाख़ून काटना, बाल काटना जैसे काम नहीं करना चाहिए।
5. इस समय बच्चे, वृद्ध,गर्भवती महिला या रोगी को खाना या दवा लेने में कोई दोष नहीं लगता है।
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6 जनवरी 2019 को साल का पहला सूर्य ग्रहण पड़ा लेकिन वह भारत में नहीं नजर आ सका. जिसके बाद 21 जनवरी को साल का पहला चंद्र ग्रहण लगने जा रहा है. हालांकि यह ग्रहण भी भारत के किसी भी हिस्से में नहीं दिखेगा. जबकि उत्तरी-दक्षिणी अमेरिका, यूरोप और मध्य प्रशांत में यह ग्रहण दिखाई दे सकता है. इस ग्रहण को वैज्ञानिक नाम सुपर बल्ड वूल्फ मून दिया गया है. शास्त्रों की मानें तो ग्रहण के दौरान मंत्रों का जाप काफी उत्तम माना -गया है. इसके साथ ही ग्रहण के दौरान कई ऐसी चीजें हैं जिन्हें करने से व्यक्ति की परेशानियां दूर हो जाती हैं.
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चंद्र ग्रहण 2019 (Lunar Eclipse 2019) के दौरान जरूर करें ये काम

1. योग ध्यान करें– ग्रहण काल के दौरान किसी भी तरह की मेडिटेशन और योग साधना करना काफी बेहतर माना जाता है. कहा जाता है कि ग्रहण के दौरान जो भी साधना करता है उसे विशेष रूप से फल प्राप्त होता है.

2. दान करें– ग्रहण के दौरान दान-पुण्य का खास महत्व बताया गया है. ग्रहण के दौरान आप किसी भी गुरु, ब्राह्मण या किसी जरूरतमंद इंसान की मदद कर सकते हैं. माना जाता है कि ग्रहण के समय या बाद में किए जाने वाले दान से व्यक्ति के संकट दूर होते हैं.

3.पढ़ाई के लिए अच्छा समय– अगर आप अपने बच्चे को लिखना, पढ़ना, संगीत या किसी भी तरह की पढ़ाई शुरू करना चाहते हैं तो ग्रहण सबसे बेहतर समय होगा. ग्रहण काल में यह सब शुरू करना शुभ रहेगा.

4. मौन व्रत करें– ग्रहण के दौरान ध्यान रखें कि व्यर्थ में किसी से ज्यादा वार्तालाप नहीं हो सके. कोशिश तो यह करें कि ग्रहण के समय आप मौन साधना करें. ग्रहण काल के दौरान मौन व्रत का विशेष महत्व बताया गया है.

Saturday, January 5, 2019

surya grahan, पहला सूर्य ग्रहण

surya grahan पहला सूर्य ग्रहण

इस साल का पहला सूर्य ग्रहण रविवार को होगा , लेकिन यह भारत में नहीं दिखेगा ! ग्रहण के वक्त सूर्य , शनि , बुध , चंद्र भी धनु राशि में होंगे ! यह सूर्य ग्रहण सिर्फ मध्य - पूर्व चीन , जापान , उत्तर व दक्षिणी कोरिया , उत्तर पूर्वी रूस , मध्य पूर्वी मंगोलिया और अलास्का के पश्चिमी तटों में दिखाई देगा ! ग्रहण की शुरुवात रविवार सुबह ०५:०४ बजे से होगी ! ग्रहण का मध्य रविवार सुबह ०७:११ बजे होगा और यह ग्रहण सुबह ०९:१८ बजे समाप्त होगा !





2019मे पडने वाला पहला सूर्य ग्रहण

पहला सूर्य ग्रहण छह जनवरी को पड़ने जा रहा है जो आंशिक सूर्य ग्रहण है आैर ये भारत में नहीं दिखेगा।

भारतीय समयानुसार ग्रहण सुबह 5.04 बजे पर शुरू होगा और 9.18 बजे खत्म होगा।


ग्रहण और शनि अमावस्या का योग
साल का पहला ग्रहण शनिवार के दिन पड़ने के कारण इसका महत्व काफी बढ़ गया है। सूर्य ग्रहण भले ही भारत में दिखाई नहीं देगा लेकिन इस दिन शनैश्चरी अमावस्या होने की वजह से यह दिन बेहद खास होगा। शनैश्चरी अमावस्या के दिन ग्रहण होने के कारण इस दिन दान, जप-पाठ, मंत्र एवं स्तोत्र-पाठ और स्नान का महत्व बढ़ जाता है।

साल 2019 में कुल 5 ग्रहण लगेगा

- साल 2019 में कुल 5 ग्रहण लगेगा जिसमे से 3 सूर्यग्रहण और 2 चंद्रग्रहण होगा।

- 16-17 जुलाई को खग्रास में चंद्रग्रहण होगा। वहीं 26 दिसंबर को सूर्य ग्रहण होगा, जो भारत में देखा जा सकेगा।

पहला सूर्यग्रहण
5 जनवरी को सूर्यग्रहण होगा। ये भारत में दिखाई नहीं देगा।

दूसरा चंद्रग्रहण
21 जनवरी को चंद्रग्रहण होगा। ये भी पहले सूर्यग्रहण की तरह भारत में दिखाई नहीं देगा।

तीसरा खग्रास सूर्यग्रहण
2 जुलाई 2019 को खग्रास सूर्यग्रहण होगा। लेकिन यह भी भारत में दिखाई नहीं देगा।

चौथा खंडग्रास चंद्रग्रहण
16 जुलाई 2019 को खंडग्रास चंद्रग्रहण होगा। ये ग्रहण भारत में दिखाई देगा।

पांचवां और अंतिम सूर्य ग्रहण
साल 2019 का अंतिम सूर्यग्रहण 26 दिसंबर 2019 को होगा। ये ग्रहण सिर्फ दक्षिण भारत के कुछ इलाकों में ही दिखाई देगा।

जय गुरुदेव
जय निखिल